तीनों लोकों के रचयिता हैं नारायण हरि, कोई साधारण बाबा नहीं; अब भी 'भक्ति' में चूर अनुयायी

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नारायण हरि के भक्त ने कहा, 'उन्होंने दुनिया की रचना रची है। तीनों लोकों के स्वामी हैं। वह होते हुए भी नहीं होते हैं और हैं भी। कल क्या हुआ, इसे वही जानते हैं, लेकिन इसमें उनका कोई दोष नहीं है।'

 


हाथरस में सत्संग के दौरान मची भगदड़ में सवा सौ लोगों की मौत ने कोहराम मचा दिया है। पूरे देश में इसकी चर्चा है और सवाल उठ रहे हैं कि आखिर तीन लाख लोग कैसे इस आयोजन में जुटे और इस तरह भगदड़ के पीछे किसकी गलती थी। सवाल इस कार्यक्रम के बाबा नारायण हरि उर्फ सूरजपाल सिंह पर भी उठ रहे हैं। फिलहाल सूरजपाल सिंह फरार है और आयोजकों पर केस दर्ज कर लिया गया है। हालांकि अब भी उसके तमाम ऐसे अनुयायी हैं, जो मानते हैं कि सूरजपाल सिंह उर्फ नारायण हरि की कोई गलती नहीं है। एक भक्त ने तो उसे साधारण बाबा मानने से ही इनकार कर दिया और कहा कि वह खुद भगवान है।

भक्त ने कहा, 'उन्होंने दुनिया की रचना रची है। तीनों लोकों के स्वामी हैं। वह होते हुए भी नहीं होते हैं और हैं भी। कल क्या हुआ, इसे वही जानते हैं, लेकिन इसमें उनका कोई दोष नहीं है।'