उपायुक्त की अध्यक्षता में जिला स्तरीय अधिकारियों की बैठक सम्पन्न

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विशेष पिछड़ी जनजातियों की सामाजिक और आर्थिक विकास का आधार बनेगा प्रधानमंत्री जनमन योजना

बलरामपुर, उप आयुक्त एनईएसटीएस भारत सरकार श्री गौरव पवार की अध्यक्षता में को संयुक्त जिला कार्यालय भवन के सभाकक्ष में जिला स्तरीय अधिकारियों की बैठक लेकर भारत सरकार की प्रधानमंत्री जनमन योजना का प्रभावी एवं समयबद्ध कार्ययोजना बनाने गहन समीक्षा की गई। उन्होंने सभी विभागीय अधिकारियों को शासन की योजनाओं के क्रियान्वयन में गति लाने और नियमित मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए। उप आयुक्त श्री गौरव पवार ने विभागवार प्रत्येक बिंदुओं पर विस्तृत समीक्षा की। उन्होंने प्रधानमंत्री आवास योजना के लक्ष्यनुरुप प्रगति के संबंध में जानकारी ली। साथ ही उन्होंने हर घर नल-जल योजना अंतर्गत सभी बसाहटों तक पानी अवश्य पहुंचाने के निर्देश दिये। श्री पवार ने सड़क, विद्युत, पोषण, कौशल विकास को लेकर भी आवश्यक निर्देश देते हुए सर्वे कार्य को जल्द से जल्द पूर्ण करने को कहा। साथ ही सर्वे के पश्चात प्राप्त आंकडों के आधार पर प्रभावी कार्ययोजना बनाकर विशेष पिछड़ी जनजाति के चिन्हांकित लोगों को लाभान्वित करने हेतु पूरी तत्परता से कार्य करने के निर्देश दिए।


 


 

बैठक में उन्होंने कहा कि भारत सरकार की पीएम जनमन योजना का मूल उद्देश्य विशेष रूप से कमजोर जनजाति समूहों(पीवीटीजी) की सामाजिक तथा आर्थिक स्थिति में उच्चतर सुधार करना है, ताकि विशेष रूप से कमजोर जनजाति समूहों, परिवारों का त्वरित गति से विकास किया जा सके। बैठक में श्री पवार ने पीएम जनमन योजना की समीक्षा करते हुए कहा कि पीएम जनमन योजना केन्द्र शासन की महत्वपूर्ण योजना है। सभी अधिकारी इसे सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए योजना के सफल क्रियान्वयन के लिए विशेष तौर पर कार्य करें। उन्होंने अधिकारियों को पीएम जनमन योजना के माध्यम से जनसामान्य को शासन की योजना से अधिक से अधिक लाभान्वित करने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि इस योजना के अंतर्गत उपरोक्त उद्देश्यों को पूरा करने के लिए 9 केन्द्रीय मंत्रालयों के माध्यम से 11 महत्वपूर्ण गतिविधियों की क्रियान्वयन पर विशेष जोर देने के निर्देश दिए है। विशेष पिछड़ी जनजाति समुदायों की सामाजिक और आर्थिक स्थिति में सुधार के लिए प्रधानमंत्री जनमन योजना संचालित की जा रही है। इसके अंतर्गत विभिन्न विभागों के समन्वय से पेयजल, आवास, सड़क, मोबाईल मेडिकल यूनिट, छात्रावास निर्माण, आंगनबाड़ी केंद्रों के माध्यम से पोषण, वनधन केंद्र की स्थापना, इंटरनेट एवं मोबाईल सर्विस की उपलब्धता तथा आजीविका संवर्धन के लिए कौशल विकास सहित महत्वपूर्ण गतिविधियों का क्रियान्वयन किया जाएगा। बैठक में विशेष पिछड़ी जनजाति समुदाय के प्रतिनिधि एवं सदस्यों ने भी अपनी-अपनी बात रखी।

बैठक में अपर कलेक्टर श्री भागवत जायसवाल, डिप्टी कलेक्टर श्री शशि चौधरी, सहायक आयुक्त आदिवासी विकास विभाग श्री राकेश सोनी, सर्व अनुविभागीय अधिकारी राजस्व, विशेष पिछड़ी जनजाति समुदाय के प्रतिनिधि/सदस्य सहित जिला स्तरीय अधिकारीगण उपस्थित थे।