मालगांव के ग्रामीणो ने फिर पंचायत जनप्रतिनिधियो के खिलाफ खोला मोर्चा

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गरियाबंद - ग्राम पंचायत मालगांव में अतिक्रमण की कार्यवाही को लेकर शुरू हुआ विवाद थमने का नाम नही ले रहा है। मामले को लेकर ग्रामीण और मालगांव ग्राम पंचायत के उपसरपंच सहित अन्य जनप्रतिनिधि आमने सामने हो गए है। जहां ग्रामीणो द्वारा शुरू से ही उपसरंपच सहित जनप्रतिनिधियो के विरूध्द अतिक्रमण को लेकर भेदभावपूर्व कार्यवाही करने की शिकायत की जा रही है वही उपसरपंच द्वारा उल्टा ग्रामीणो पर ही कार्यवाही का ठिकरा फोड़ा जा रहा है।
 
बुधवार को एक बार फिर इस मामले में ग्रामीणो ने ग्राम पंचायत मालगांव के उपसरंपच सहित पंचायत जनप्रतिनिधियो पर निशाना साधा। ग्राम पंचायत भवन में आयोजित बस्ती बैठक में ग्रामीणो ने उपसरपंच एवं ब्लाक कांग्रेस अध्यक्ष द्वारा गत दिनो गरियाबंद में की गई प्रेसवार्ता और ग्राम समिति के अध्यक्ष व उपाध्यक्ष के विरूध्द लगाए आरोप का लिखित पंचनामा बनाकर खण्डन कर दिया और जनप्रतिनिधियो के विरूध्द ही अतिक्रमण के कार्यवाही में भेदभाव रवैया अपनाने का आरोप लगाया।
 
लिखित पंचनामा में ग्रामीणो ने बताया कि उनके द्वारा पूरे ग्राम से बिना भेदभाव के अतिक्रमण हटाने के लिए आवेदन किया गया था परंतु पंचायत द्वारा उपसरंपच के करीबी व्यक्ति को संरक्षण देते हुए भेदभावपूर्ण तरीके से कार्यवाही की गई। जब ग्रामीणो ने इसका विरोध किया तो उन्होने अपनी छबि बचाने गरियाबंद में पत्रकारवार्ता कर ग्राम समिति के अध्यक्ष सालिकराम निषाद व उपाध्यक्ष सलीम खान के विरूध्द साजिश रचने का झूठा आरोप लगा उन्हे और ग्रामीणो को ही बदनाम किया गया।
 
ग्रामीणो ने बताया कि उपसरपंच के करीबी व्यक्ति पंच पति द्वारा नेशनल हाईवे के किनारे और स्कुल के ठीक सामने हॉटल संचालित की जा रही है जिसे नोटिश नही दिया गया है जबकि उसके द्वारा गौठान की जमीन में भी अवैध कब्जा कर मकान निर्माण कराया जा रहा है। इसके बाद भी पंचायत ने अब तक कोई कार्यवाही नही। जबकि स्कुल संबंधित नियमो और ग्रामीणो की शिकायत का हवाला देकर अन्य लोगो को भेदभावपूर्ण कार्यवाही कर हटाया दिया गया।
 
इसके साथ ही ग्रामीणो ने पंचायत जनप्रतिनिधियो पर गांव के विकास को लेकर निष्क्रिय होने का भी आरोप लगाया। ग्रामीणो ने कहा कि ग्राम सभा की बैठक और गांव के विकास को लेकर आयोजित बैठक में हमेशा उपसरपंच व पंच नदारत रहते है। बार बार ग्रामीणो द्वारा सुचना देने और बुलाने के बाद भी नही आते जिसके चलते गांव में विकास तो रूक रहा है, जनप्रतिनिधियो के मनमानी से विवाद की स्थिति भी बनने लगी है।
 
इस अवसर पर प्रमुख रूप से ग्राम समिति अध्यक्ष सालिक राम निषाद, उपाध्यक्ष सलीम खान, हेमलाल, पन्नुराम निषाद, लेखराम निषाद, अश्वनी कुमार, खेलन निषाद, गणेशुराम, राजाराम, अमरलाल, बुधराम, छबिराम, भुनेश्वर निषाद, धरमूराम निषाद, उदेराम निषाद सहित बड़ी संख्या में ग्रामीण मौजुद थे जिन्होने पंचनामा में भी हस्ताक्षर किए है।